वैशाली नगर इलाके में जिस किशोर के अपहरण का आरोप व्यवसायी पर लगाया जा रहा था, उसे खुद पिता ने ही कोटा में रिश्तेदार के पास भेज दिया था। बेटे को छिपाने के बाद पिता ने व्यवसायी के खिलाफ बंधुआ मजदूरी व अपहरण की रिपोर्ट दर्ज कराई थी। पुलिस ने शनिवार को किशोर को कोटा में उसके मामा के घर से बरामद किया है। पुलिस उसे लेकर रविवार को जयपुर लौटेगी।
पुलिस के अनुसार बरामद रवि (17) खातीपुरा स्थित शिवविहार निवासी रतन सिंह का बेटा है। वह खातीपुरा स्थित न्यू कॉलोनी में साइकिल की दुकान करने वाले ओमप्रकाश शर्मा के यहां काम करता था। करीब एक माह पहले रतन सिंह ने इस्तगासे के जरिए ओमप्रकाश के खिलाफ मामला दर्ज कराया था।
उसने आरोप लगाया था कि उधार के रूपए नहीं चुकाने पर ओमप्रकाश ने रवि को जबरन दुकान पर मजदूरी करवाई और बाद में किसी के हाथ बेच दिया। मामले की रिपोर्ट दर्ज कर पुलिस ने पडताल शुरू की और जांच अधिकारी इंन्द्र सिंह ने कोटा के दादाबाडी क्षेत्र से रवि को बरामद कर लिया। रवि यहां पाली निवासी ओमप्रकाश के घर मिला।
रोजगार के लिए भेजा थापाली निवासी ओमप्रकाश कथित रूप से अपह्रत रवि का मुहं बोला मामा है। ओमप्रकाश कुछ दिन पहले तक जयपुर में ही रंग-रोगन का काम करता था। यहां धंधा नहीं चलने पर वह कोटा जाने लगा, तो रतन सिंह ने रवि को भी रोजगार के लिए साथ भेज दिया। इसके बाद रतन ने अपहरण की झूठी कहानी रच डाली।
स्कैच भी गलत बनवायापुलिस ने रवि की फोटो मांगी, तो परिजनों के मना कर दिया। फिर पुलिस ने उनके बताए हुलिए के आधार पर स्कैच तैयार करवाया। किशोर के मिलने पर खुलासा हुआ कि परिजनों ने स्कैच भी गलत बनावाया था। एक तरफ परिजन इस तरह पेश आ रहे थे तो दूसरी तरफ वे पुलिस पर ढिलाई का आरोप लगाते हुए रोजाना उ“ााधिकारियों के यहां पेश हो रहे थे।
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